हरियाणा डेस्क:- इनेलो के प्रधान महासचिव एवं ऐलनाबाद के विधायक अभय सिंह चौटाला ने किसानों की बेमौसमी बारिश और ओलों के कारण बर्बाद हुई फसल की भरपाई के लिए सरकार से बिना किसी कटौती के फसल खरीदने या किसानों को 50 हजार रूपए प्रति एकड़ मुआवजा देने की मांग की थी। लेकिन मुआवजा देना तो दूर सिकुड़े और टूटे दाने वाले गेहूं की खरीद पर केंद्र की भाजपा सरकार द्वारा 32 रूपए प्रति क्विंटल की कटौती का जो फैसला आया है वह भाजपा सरकार का किसानों के प्रति तुगलकी फरमान है। उन्होंने कहा कि किसानों की जो फसल बर्बाद हुई है वो ज्यादातर सिकुड़े एवं टूटे गेहू की 18 प्रतिशत वाली कैटेगरी में आती है। अभय सिंह चौटाला ने भाजपा की केंद्र सरकार द्वारा गेहूं की फसल पर 32 रूपए प्रति क्विंटल की कटौती करने के फैसले को किसान विरोधी फैसला बताते हुए इसकी कड़े शब्दों में आलोचना की। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा हरियाणा के किसानों के साथ बड़ा विश्वासघात किया गया है। जब से देश और प्रदेश में भाजपा सरकार आई है तब से ही किसानों को लगातार लूट रही है।
कभी नमी के नाम पर और कभी फसल बीमा के नाम पर किसानों को लूटा गया। आज जब सरकार द्वारा किसानों की भरपाई करने का समय है तो बजाय किसानों के नुकसान की भरपाई करने के उन्हीं से गैरवाजिब कटौती की जा रही है जो अन्नदाता के साथ घोर अन्याय है। उन्होंने कहा कि भाजपा गठबंधन सरकार द्वारा विशेष गिरदावरी करवाने के आदेश भी खोखले निकले हैं और सच्चाई यह है कि अभी तक विशेष गिरदावरी पूरी नहीं हुई है। फसल नुकसान के लिए जो पोर्टल सरकार द्वारा जारी किया गया है उस पर भी किसानों की शिकायत है कि वो काम नहीं कर रहा। आज किसान और खेत में मजदूरी करने वाले लाखों लोगों पर रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है। किसान पहले से ही भयंकर कर्जे में डूबा हुआ है अब केंद्र सरकार के इस किसान-मजदूर विरोधी कदम से वित्तीय संकट और गहरा गया है। अभय सिंह चौटाला ने कम चमक, सिकुड़े और टूटे दाने वाले गेहूं की खरीद पर 32 रूपए कटौती के फैसले को भाजपा सरकार द्वारा वापिस लेने की मांग करते हुए कहा कि अन्नदाता पर बजाय कहर ढाने के उनको राहत दे।