हरियाणा डेस्क: हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि, पंजाब सरकार ने चण्डीगढ़ को लेकर जो प्रस्ताव पास किया है वो राजनीतिक प्रस्ताव है। उन्होंने कहा कि, हम चण्डीगढ में तब डटे रहेंगें, जब तक हमें एसवाईएल का पानी नहीं मिलता, हिन्दी भाषी क्षेत्र नहीं मिलते और नई राजधानी बनाने के लिए वित्तीय सहायता नहीं मिलती तब तक हम यहीं पर डटे रहेंगे।
विज हरियाणा विधानसभा द्वारा बुलाए गए विशेष सत्र के दौरान मुख्यमंत्री द्वारा रखे प्रस्ताव के संबंध में सदन के सदस्यों को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा रखे प्रस्ताव का वे समर्थन भी करते हैं।
पंजाब के लोगों का ध्यान भटकाने के लिए चण्डीगढ के मुददे को छेड़ने की कोशिश-विज
विज ने कहा कि, पंजाब सरकार जनती है कि उन्होंने रियायतें व वायदा करके सत्ता हथियाई है और वो वायदे पूरे नहीं कर सकते है। आगे कहा कि पंजाब के हालात श्रीलंका जैसे होने वाले हैं इसलिए अपने प्रदेश के लोगों का ध्यान भटकाने के लिए इस मुददे को छेड़ने की कोशिश की गई है।
हरियाणा के साथ कभी भी इंसाफ नहीं हुआ- विज
सदन के सदस्यों को संबोधित करते हुए गृह मंत्री ने कहा कि ‘‘हमें इसको समझना चाहिए कि चार दिन की पार्टी अभी शिशुकाल में हैं और जिनके अभी दूध के दांत भी टूटे नहीं, और बातें चण्डीगढ की करते हैं’’। उन्होंने सवाल करते हुए कहा कि ‘‘चण्डीगढ क्या ऐसे ही दे दिया जाएगा, मैं कहना तो नहीं चाहता हूं लेकिन शाश्वत सच है कि चण्डीगढ और हरियाणा के बंटवारे के लिए जितने भी आयोग पंजाब और हरियाणा के बनें, चाहे वो शाह कमीशन था, चाहे वो इराडी ट्रिब्यूनल था, चाहे राजीव-लोगांेवाल आवार्ड था, चाहे इंदिरा गांधी अवार्ड था, उनमें हरियाणा के साथ इंसाफ नहीं हुआ है’’। उन्होंने कहा कि ये साश्वत सच हैं, हमें इसको मानना चाहिए और हमें लंबी लंबी लडाईयां लडकर भी वहीं के वहीं खडे हैं।