झज्जर, 18 फरवरी(संजीत खन्ना): पुलवामा आतंकी हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ के 40 जवानों की शहादत से पूरा देश स्तब्ध है और साथ ही पकिस्तान की इस कायराना हरकत के लिए बेहद गुस्सा भी। पकिस्तान ने देश के सैनिकों पर पीछे सो जो वार किया है उसका बदला लेने के लिए देश का हर एक नागरिक बार बार भारत सरकार से मांग कर रहा है। पुलवामा आतंकी हमले को लेकर झज्जर वासियों में भी पकिस्तान और आतंकवाद के प्रति बेहद गुस्सा है। झज्जर में पिछले चार दिनों से बच्चे, बूढ़े और जवान सभी आतंकी हमले में शहीद हुए अपने वीर सपूतों को श्रद्धांजलि दे रहे हैं। और साथ ही सड़कों पर उतर कर पकिस्तान को इस कायराना हरकत के लिए कोस रहे हैं । सब की जुबान पर बस एक ही बात है और वो है पाक को सबक सिखाने की। सभी की आंखों में पकिस्तान के लिए गुस्सा साफ साफ़ नजर आया। सोमवार को शहीदों को नमन करने के लिए पूर्व सैनिक सड़कों पर उतरे और पुलवामा आतंकी हमले के प्रति अपना गुस्सा जाहिर करते हुए पकिस्तान के झंडे को आग के हवाले कर दिया।
शहर में प्रदर्शन कर रहे पूर्व सैनिकों ने शहादत की कीमत पाक से वसूलने की मांग दोहराई। पूर्व सैनिकों ने यहां तक कहा कि सरकार चाहे तो वे फिर से बार्डर पर जाकर बंदूक उठाने को तैयार है और अगर धन की जरूरत हो तो वे अपनी पेंशन सरकार को दे सकते हैं। इसके साथ ही पूर्व अर्धबल सैनिक संगठन भी विरोध में उतरा। उन्होंने अर्ध सैनिक बलों के जवानों की 2004 से बंद हुई पेंशन व सैनिकों काे शहीद का दर्जा देने की मांग की। इसके लिए उन्होंने डीसी के माध्यम से प्रधानमंत्री को ज्ञापन भी दिया।
पूर्व सैनिक आज सैंकड़ों की संख्या में शहर के राव तुलाराम चौक पर जुटे। यहां से वे प्रदर्शन करते हुए नगर की बीचोंबीच से गुजरते हुए अंबेडकर चौक पर पहुंचे और वहां जाकर उन्होंने पाक के मुर्दाबाद के नारे लगाए और पाकिस्तान का झंडा भी जलाया। पूर्व सैनिकों के साथ गौ रक्षक दल के सदस्य भी शामिल रहे। पूर्व सैनिक कपिल ने पाकिस्तान को ठोकने की मांग केंद्र सरकार से की और कहा कि जरूरत हो तो इस काम के लिए पूर्व सैनिक सरकार के साथ हैं। वे सरकार के आदेश पर लड़ने से लेकर धन की जरूरत पूरी करने के लिए अपनी पेंशन तक देने को तैयार हैं।
उन्होंने कहा कि हमारे सैनिकों की आए दिन जान जा रही है। 40 घरों के दीये हाल ही में बुझा दिए गए। पूर्व सैनिकों ने कहा की वे अपनी सेना के साथ खड़े हैं और अब इन हालात में सरकार को कश्मीर से धारा 370 को भी समाप्त कर देना चाहिए।