Sunday , 10 November 2024

भाजपा सरकार में व्यापारी व उद्योगपति लूटा है और किसान पीसा है – बजरंग दास गर्ग

सिरसा(सुरिंदर सैनी) : भाजपा सरकार पर जमकर हमला बोलते हुए गर्ग ने कहा कि हरियाणा सरकार की ओर से कपास पर मार्केट फीस 2 रुपये से घटाकर पहले की तरह 80 पैसे 1 अगस्त 2016 से करने के घोषणा करने के बावजूद भी 2 साल में अभी तक मार्केट फीस जो पहले 80 पैसे थी। उसे अभी तक 80 पैसे ना करके प्रदेश के किसान, व्यापारी व कपास मिलरो के साथ ज्यादती कर रही है। इतना ही नहीं सरकार कपास की एमएसपी 5150 रुपये करके किसान को लूटना चाहती है। जबकि 1 साल से किसान की कपास खुले बाजार में 5900 रुपए क्विंटल के हिसाब से बिक रही है। सरकार व्यापारी व किसानों की हित में कार्य ना करके अपनी विफलता को छुपाने के लिए प्रदेश में जगह-जगह रैलियां करके करोड़ों रुपए खर्च करके जश्न बना रही है। गर्ग ने यह भी कहा कि सरकार की गलत नीतियों व कपास पर मार्केट फीस में बढ़ौतरी करने के कारण प्रदेश का उद्योगपति हरियाणा से पलायन करके पड़ोसी राज्य राजस्थान में उद्योग लगा रहे हैं। यहां तक की 20 जीनर मील हरियाणा से पलायन करके हरियाणा राजस्थान के बॉर्डर में स्थापित हो चुकी है।

 

 

 

 

केंद्र सरकार ने अधिसूचना जारी करके नरमा पर आढ़तियों को आढ़त ना देने का फरमान राज्य सरकारों को भेजा है, जबकि राजस्थान सरकार ने नरमा पर आढ़त ना देने का भी निर्णय ले लिया। यह फैसला पूरी तरह देश के व्यापारियों के विरोध में है। उन्होंने कहा कि सरकार ने मार्केट बोर्ड बनाकर जगह-जगह अनाज मंडियां बनाई हुई है। मगर आढ़तियों को काम करने पर कमीशन नहीं मिलेगा, तो आढ़ती अनाज मंडी में व्यापार करके क्या करेगा। केंद्र सरकार को नरमा पर आढ़त ना देने के निर्णय को तुरंत प्रभाव से वापस ले लेना चाहिए और राज्य सरकार को झूठी घोषणाएं करने की बजाय अपने वादे के अनुसार कपास पर मार्केट फीस 80 पैसे करके प्रदेश के किसान, मिलर व आढ़तियों को राहत देने का काम करना चाहिए। गर्ग ने कहा कि हरियाणा सरकार ने 18 महीने पहले से प्रदेश में टेक्सटाइल हब बनाने की घोषणा की गई है, जो कि अभी तक इस पर को काम शुरू नहीं हुआ है। जब तक कॉटन उद्योग को सुचारू रूप से चलाने के लिए सरकार सुविधा नहीं देगी, तब तक हरियाणा में टेक्सटाइल हब कामयाब नहीं हो सकता। टेक्सटाइल हब को कामयाब करने के लिए कॉटन उद्योग को बढ़ावा देना बहुत जरूरी है।

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